सड़क हादसों में होने वाली मौत के ग्राफ कम करने के लिए जबलपुर हाईकोर्ट ने पूरी तरह से सख्ती से पालन करने का निर्देश दिया है इसी क्रम में आबकारी विभाग द्वारा दिए गए निर्देशों के बाद अब जबलपुर शहर शराब दुकानदारों ने अपनी दुकानों के बाहर बैनर पोस्टर लगा रखे हैं इस पर लिखा है कि हेलमेट पहनना अनिवार्य है हेलमेट अगर नहीं थे तो शराब नहीं मिलेगी।
इस मामले में जबलपुर जिला आबकारी अधिकारी का कहना है कि सबसे ज्यादा दुर्घटनाएं शराब पीकर वाहन चलाने वालों को साथ होती है जो लोग शराब पीकर वाहन चलाकर यह अपनी और दूसरों की जान जोखिम में डालते हैं ऐसे लोगों को हेलमेट हर हाल में लगाने की अनिवार्यता की जा रही है.
अगर हेलमेट नहीं तो शराब नहीं टू व्हीलर बाइक चालक अगर हेलमेट लगाकर शराब की दुकान में नहीं आएंगे तो वह अब शराब नहीं खरीद पाएंगे। इस समय पूरे मध्यप्रदेश के हर जिलों में हेलमेट जांच के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है।
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मिले आंकड़ों में बताया गया कि एमपी में पिछले ढाई साल में सड़क दुर्घटनाओं में 30262 लोगों ने अपनी जान गवाई है इसमें 14663 लोगों ने सवारी के दौरान हादसे का शिकार हो गए।
सरकार सड़क हादसों में होने वाली मौत का ग्राफ कम करने के लिए अब हाईकोर्ट के आदेश पर सख्ती बरत रही है. पुलिस द्वारा हेलमेट पहनने को लेकर अभियान चलाया जा रहा है. इसी क्रम में आबकारी विभाग द्वारा दिए निर्देश के बाद शराब दुकानदारों ने अपनी दुकानों के बाहर बैनर पोस्टर लगाया है, जिस पर लिखा है कि ‘हेलमेट पहनना अनिवार्य है, हेलमेट नहीं तो, शराब नहीं.’
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