मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने राज्यपाल को पत्र लिखते हुए पिछले 3 हफ्ते से अपनी सदस्यता को लेकर बने संशय के बीच सीएम ने आज गवर्नर से मुलाकात की। इस मीटिंग में उन्होंने इलेक्शन कमीशन के मंतव्य की कॉपी की मांग करते हुए एक पत्र सौंपा। अपने पत्र में उन्होंने गवर्नर से कहा कि फरवरी, 2022 से बीजेपी के द्वारा यह भूमिका रची जा रही है कि उनके द्वारा खनन पट्टा लिए जाने के आधार पर उन्हें विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य ठहरा दिया जाएगा। उन्हें सुनवाई का अवसर भी दिया जाए ताकि स्वस्थ लोकतंत्र के लिए घातक अनिश्चितता का वातावरण जल्द दूर हो सके।
दोपहर अचानक मुख्यमंत्री सोरेन खुद गवर्नर रमेश बैस से मिलने राजभवन पहुंचे और गवर्नर से कहा कि उनकी सदस्यता को लेकर निर्वाचन आयोग ने जो मंतव्य उन्हें भेजा है उसकी एक प्रति उपलब्ध कराई जाए। वहीं सीएम ने मुलाकात कर राज्यपाल को दो पेज का पत्र उन्होंने दिया।
Jharkhand CM Hemant Soren calls on Governor Ramesh Bais and submits a letter demanding a copy of the Election Commission opinion (in the office of profit case against him). pic.twitter.com/yk0Zfo3yoc
— ANI (@ANI) September 15, 2022
झारखंड के सीएम सोरेन ने एक पत्र में लिखा, “भाजपा द्वारा समाचार फैलाने और महामहिम के कार्यालय से चयनित लीक के कारण, राज्य सरकार और जनता में एक भ्रामक और भ्रामक स्थिति पैदा हो गई है जो लोगों और राज्य के लिए अच्छी नहीं है।”
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